Thursday 24 July 2014

मैथिलीक सहयोगी लोकनिक सूचि :अपनेक सहयोग चाही


स्वर्गीय सर आशुतोष मुखर्जी - कुलपति कलकत्ता विश्वविद्यालय
स्वर्गीय ज्योतिषाचार्य पंडित श्री कृष्ण मिश्र - कलकत्ता विश्वविद्यालय
स्वर्गीय ज्योतिषाचार्य श्री बबुआजी मिश्र
स्वर्गीय कुमार "गंगा नन्द सिंह
वकील पंडित व्रज मोहन ठाकुर - पुरैनिया निवासी
स्वर्गीय पंडित खुद्दी झा - ग्राम कोइलख - प्रथम मैथिली व्याख्याता
स्वर्गीय बाबू गंगा पति सिंह - खण्डबला कुलोत्पन्न - प्रथम मैथिली व्याख्याता
राजा स्वर्गीय टंकनाथ चौधरी - रजौरक राजा  - प्रथम मैथिली व्याख्याता के द्रव्य देनिहार
स्वर्गीय राजा कीर्त्यानन्द सिंह - बनैलिक राजा - प्रथम मैथिली व्याख्याता के द्रव्य देनिहार
पंडित श्री कृष्ण मिश्र - मैथिली लेखक - म० म ० मुरलीधर झाक शिष्य
माधव मिश्र - एम. ए. मैथिली
गोकुलदास झा - चक्रवर्ती - दिनाजपुर - एम. ए. मैथिली
डॉ माहेश्वरी सिंह "महेश " - भागलपुर- एम. ए. मैथिली
श्री जयदेव मिश्र - एम. ए. मैथिली
स्वर्गीय पंडित मधुसूदन झा - मैथिली हितसाधन के प्रकाशक
पंडित श्री  मुरलीधर झा - मिथिलामोद के प्रकाशक
पंडित श्री अनूप मिश्र - म० म ० मुरलीधर झाक शिष्य
पंडित श्री सीताराम झा - म० म ० मुरलीधर झाक शिष्य
स्वर्गीय उपेन्द्र नाथ झा -
श्री हरिकांत झा बकसी मोद
डॉ कांचीनाथ झा किरण
म० म० पंडित बालकृष्ण मिश्र - हिन्दू वि० वि० के आचार्य
महामना पंडित मदनमोहन मालवीय - हिन्दू वि० वि० के उप - कुलपति
सर जओर्ज  गियर्सन - प्रथम मैथिली व्याकरण लिखनिहार
महाराज लक्ष्मीश्वर सिंह
कवि चंदा झा
पंडित विष्णु कांत झा - मिथिला मिहिर के पहिल संपादक
जगदीश्वर ओझा - मिथिला मिहिर के दोसर संपादक
श्री सुरेन्द्र झा "सुमन " - मिथिला मिहिर संपादक
पंडित शशिनाथ चौधरी - मैथिल महासभा के प्रथम मंत्री
श्री भोला नाथ झा - मैथिल महासभा के दोसर मंत्री  
म० म० डॉ सर गंगा नाथ झा
म० म० डॉ उमेश मिश्र
रायबहादुर जयानंद कुमार
पंडित सिद्धिनाथ  मिश्र
पंडित जीवनाथ राय
रायबहादुर रामलोचन शरण
श्री सूर्य नारायण सिंह
पंडित रघुनन्दन झा
श्री तंत्र नाथ झा
श्री सुरेन्द्र नाथ मजूमदार - मैथिलीक स्वीकृत्यर्थ प्रस्तावक - पटना वि० वि० में मैथिली लेल
श्री अतुलानन्द सेन - समर्थक
श्री राधा कृष्ण झा - विरोधी - प्रस्ताव पास नहि भेल 
मैथिल छात्र समिति - मुजफ्फरपुर जे मैथिली के बढ़ेबालेल काज केलक - थोरवे दिन चलल , मुदा मैथिल छत्रक मोन में ए भावना आनि देलक जे हमर भाषा मैथिली थिक.
म० म० मुकुंद झा
कवीश्वर बद्रीनाथ झा
पंडित देवी कांत ठाकुर
स्वर्गीय हरगोविन्द चौधरी एम. ए . हिंदी प्रथम , सुवर्ण पदक प्राप्त - मैथिलीक प्रस्तावक
प्रो० डॉ अनत प्रसाद - समर्थक
डॉ जनार्दन मिश्र , संस्कृत आ हिंदी व्याख्याता - विरोधी , प्रस्ताव पास नहि भेल 
डॉ कामेश्वर सिंह - दरभंगा महाराज
श्री श्याम धारी लाल
श्री चंद्रशेखर प्रसाद
श्री नारायण सिंह
डॉ धर्मेन्द्र ब्रम्हचारी शास्त्री
श्री कृपानाथ मिश्र
आचार्य रामलोचन शरण
श्री दिवाकर झा - पटना वि० वि० अर्थशास्त्र विभागाध्यक्ष ,  मैथिली आंदोलन के नेता
डॉ सुधाकर झा - प्रो०  पटना वि० वि०
प्रो० आर्मर साहब - जी० बी० कॉलेज , मुजफ्फरपुर
बनर्जी शास्त्री - संस्कृत विभागाध्यक्ष, पटना  कॉलेज
मैथिली साहित्य परिषदक स्थापना - खुल्लम खुल्ला समर्थन
क्रमशः .... में अपनेक संग चाही .....





Monday 21 July 2014

शिव- ताण्डव- स्तोत्रम्

जटाटवीगलज्जलप्रवाहपावितस्थले
गलेऽवलम्ब्य लम्बितां भुजङ्गतुङ्गमालिकाम् |
डमड्डमड्डमड्डमन्निनादवड्डमर्वय
चकार चण्ड्ताण्डवं तनोतु नः शिवः शिवम् || १||
जटाकटाहसंभ्रमभ्रमन्निलिम्पनिर्झरी-
- विलोलवीचिवल्लरीविराजमानमूर्धनि
धगद्धगद्धगज्ज्वलल्ललाटपट्टपावक
किशोरचन्द्रशेखरे रतिः प्रतिक्षणं मम || २||
धराधरेन्द्रनंदिनीविलासबन्धुबन्धुर
स्फुरद्दिगन्तसन्ततिप्रमोदमानमानसे |
कृपाकटाक्षधोरणीनिरुद्धदुर्धरापदि
क्वचिद्दिगम्बरे( क्वचिच्चिदंबरे) मनो विनोदमेतु वस्तुनि || ३||
लताभुजङ्गपिङ्गलस्फुरत्फणामणिप्रभा
कदम्बकुङ्कुमद्रवप्रलिप्तदिग्वध मुखे |
मदान्धसिन्धुरस्फुरत्त्वगुत्तरीयमेदुरे
मनो विनोदमद्भुतं बिभर्तु भूतभर्तरि || ४|
सहस्रलोचनप्रभृत्यशेषलेखशेखर
प्रसूनधूलिधोरणी विधूसराङ्घ्रिपीठभूः |
भुजङ्गराजमालया निबद्धजाटजूटक
श्रियै चिराय जायतां चकोरबन्धुशेखरः || ५||
ललाटचत्वरज्वलद्धनञ्जयस्फुलिङ्गभा-
-निपीतपञ्चसायकं नमन्निलिम्पनायकम् |
सुधामयूखलेखया विराजमानशेखरं
महाकपालिसम्पदेशिरोजटालमस्तु नः || ६||
करालभालपट्टिकाधगद्धगद्धगज्ज्वल-
द्धनञ्जयाहुतीकृतप्रचण्डपञ्चसायके |
धराधरेन्द्रनन्दिनीकुचाग्रचित्रपत्रक-
- प्रकल्पनैकशिल्पिनि त्रिलोचने रतिर्मम ||| ७||
नवीनमेघमण्डली निरुद्धदुर्धरस्फुरत्-
कुहूनिशीथिनीतमः प्रबन्धबद्धकन्धरः |
निलिम्पनिर्झरीधरस्तनोतु कृत्तिसिन्धुरः
कलानिधानबन्धुरः श्रियं जगद्धुरंधरः || ८||
प्रफुल्लनीलपङ्कजप्रपञ्चकालिमप्रभा-
- वलम्बिकण्ठकन्दलीरुचिप्रबद्धकन्धरम् |
स्मरच्छिदं पुरच्छिदं भवच्छिदं मखच्छिदं
गजच्छिदांधकछिदं तमंतकच्छिदं भजे || ९|
अखर्व( अगर्व) सर्वमङ्गलाकलाकदंबमञ्जरी
रसप्रवाहमाधुरी विजृंभणामधुव्रतम् |
स्मरान्तकं पुरान्तकं भवान्तकं मखान्तकं
गजान्तकान्धकान्तकं तमन्तकान्तकं भजे || १०||
जयत्वदभ्रविभ्रमभ्रमद्भुजङ्गमश्वस-
- द्विनिर्गमत्क्रमस्फुरत्करालभालहव्यवाट् |
धिमिद्धिमिद्धिमिध्वनन्मृदङ्गतुङ्गमङ्गल
ध्वनिक्रमप्रवर्तित प्रचण्डताण्डवः शिवः || ११||
स्पृषद्विचित्रतल्पयोर्भुजङ्गमौक्तिकस्रजोर्-
- गरिष्ठरत्नलोष्ठयोः सुहृद्विपक्षपक्षयोः |
तृष्णारविन्दचक्षुषोः प्रजामहीमहेन्द्रयोः
समप्रवृत्तिकः ( समं प्रवर्तयन्मनः) कदा सदाशिवं भजे || १२||
कदा निलिम्पनिर्झरीनिकुञ्जकोटरे वसन्
विमुक्तदुर्मतिः सदा शिरः स्थमञ्जलिं वहन् |
विमुक्तलोललोचनो ललामभाललग्नकः
शिवेति मंत्रमुच्चरन् कदा सुखी भवाम्यहम् || १३||
इदम् हि नित्यमेवमुक्तमुत्तमोत्तमं स्तवं
पठन्स्मरन्ब्रुवन्नरो विशुद्धिमेतिसंततम्
हरे गुरौ सुभक्तिमाशु याति नान्यथा गतिं
विमोहनं हि देहिनां सुशङ्करस्य चिंतनम् || १४||
पूजावसानसमये दशवक्त्रगीतं यः
शंभुपूजनपरं पठति प्रदोषे |
तस्य स्थिरां रथगजेन्द्रतुरङ्गयुक्तां
लक्ष्मीं सदैव सुमुखिं प्रददाति शंभुः || १५||
सम्पूर्ण शिव- ताण्डव- स्तोत्रम्